पुणे मंडल में बिजली चोरी के हजार से अधिक मामले

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    पुणे: महाराष्ट्र स्टेट इलेक्ट्रिसिटी डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी लिमिटेड (MSEDCL) ने पुणे डिविजन (Pune Division) के पांच जिलों में बिजली चोरी (Electricity Theft) के 1 हजार 145 मामलों का खुलासा किया है। इन मामलों में दो करोड़ रुपए से अधिक की अवैध बिजली की खपत हुई है। 

    एमएसईडीसीएल पुणे डिविज़न (MSEDCL Pune Division)में बिजली चोरी का पता लगाने के लिए अभियान चला रहा है, जिसमें पुणे, सोलापुर, कोल्हापुर, सतारा और सांगली जिले शामिल हैं। पिछले चार महीनों में चलाए गए ऐसे चार अभियानों में एमएसईडीसीएल के अधिकारियों ने 7.7 करोड़ रुपए के बराबर बिल योग्य खपत के बिजली चोरी के 6,428 मामलों का पता लगाया है।

    हुक या केबल का उपयोग कर हो रही है बिजली चोरी

    एमएसईडीसीएल अधिकारियों मुताबिक, पुणे डिविजन बिजली चोरी के खिलाफ हर महीने अभियान चला रहा है, जिसके दौरान एमएसईडीसीएल के इंजीनियर हुक या केबल का उपयोग करके अवैध कनेक्शन के माध्यम से की जा रही बिजली चोरी का पता लगाने का प्रयास करते हैं। हाल ही में समाप्त हुए अभियान में घरेलू, वाणिज्यिक, औद्योगिक और कृषि श्रेणियों के 12,140 बिजली कनेक्शनों की जांच की गई। 1,145 मामलों में चोरी का पता चला था, जिसमें 2.07 करोड़ रुपए के बराबर 14,60,580 यूनिट्स बिजली का अवैध रूप से इस्तेमाल किया गया था।

    केबल से बिजली चोरी हो सकती है खतरनाक

    एक अधिकारी ने कहा कि हुक और केबल का उपयोग करके लिए गए अवैध बिजली कनेक्शन उपयोगकर्ता के घर के साथ-साथ उसके पड़ोसियों के लिए भी गंभीर खतरा पैदा कर सकते हैं।  एमएसईडीसीएल ने नागरिकों से अवैध बिजली कनेक्शन का उपयोग करने से बचने और बिजली चोरी के किसी भी मामले में आने पर अधिकारियों को रिपोर्ट करने की अपील की है। 

    बिल बकाया लोगों पर कार्रवाई जारी रहेगी

    एमएसईडीसीएल ने यह भी कहा है कि वह लंबे समय से भुगतान में चूक करने वाले उपभोक्ताओं के खिलाफ कार्रवाई करना जारी रखेगा। पिछले वर्ष फरवरी से,  एमएसईडीसीएल ने अपने घरेलू, वाणिज्यिक और औद्योगिक उपभोक्ताओं से बकाया बिजली बिलों की वसूली के लिए एक अभियान चलाया है। एजेंसी ने उन उपभोक्ताओं के बिजली कनेक्शन भी काटने शुरू कर दिए हैं, जिन्होंने कई महीनों से बिल का भुगतान नहीं किया है। ड्राइव शुरू करते समय पुणे क्षेत्र के पांच जिलों में 27.11 लाख उपभोक्ता थे, जिन पर एमएसईडीसीएल का कुल 1,771 करोड़ रुपए बकाया थे।