Ambernath Municipality had to make Kovid Hospital expensive, court issued order to pay Rs 4 crore 10 lakh as rent

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    अंबरनाथ : कोरोना (Corona) की पहली लहर (First Wave) के दौरान अंबरनाथ (Ambernath) से लेकर मुंबई (Mumbai) तक के सभी सरकारी (Government) और निजी अस्पताल (Private Hospital) मरीजों (Patient) से भर गए थे। तब शहर के पॉजिटिव मरीजों (Positive Patient) का इलाज (Treatment) शहर में ही करने के लिए अंबरनाथ नगर पालिका प्रशासन (Ambernath Municipality Administration) ने जिला प्रशासन की अनुमति से जन सहयोग से एक बंद डेंटल कॉलेज में कोविड अस्पताल शुरु किया था। लेकिन अब  कोविड अस्पताल बनाने की अंबरनाथ नगर पालिका को भारी कीमत चुकानी पड़ी है। 

    डेंटल अस्पताल बिल्डिंग के मालिक की मंजूरी लिए बिना नगर पालिका द्वारा अस्पताल की जगह कब्जे में लेने और उस इमारत में अपनी सुविधा के हिसाब से तोड़फोड़ करने अर्थात बिल्डिंग को नुकसान पहुंचाने और दो साल से इस्तेमाल की जा रही बिल्डिंग का दो वर्ष का किराया दिए जाने की मांग को लेकर डेंटल कॉलेज ने उच्च न्यायालय में जनहित याचिका दायर की थी। इस मामले में कोर्ट ने कॉलेज मालिक को दो साल का किराया और हर्जाना इस प्रकार 4 करोड़ 10 लाख रुपए  अदा करने के आदेश दिए है। जिससे नगर पालिका प्रशासन में हड़कंप मच गया है।

    8 हजार कोरोना पीजिटिव का यहां हुआ इलाज

    मार्च 2020 में कोरोना जैसे वैश्विक संकट में अंबरनाथ नगर पालिका की कोई स्वास्थ्य व्यवस्था मौजूद नहीं थी। इसलिए जिला प्रशासन के आदेश के बाद अंबरनाथ नगर पालिका ने उक्त कॉलेज में  700 बिस्तरों वाला कोविड अस्पताल स्थापित किया। जिसमें  मरीजों के लिए आईसीयू, वेंटिलेटर, ऑक्सीजन टैंक और प्लांट जैसी सुविधाएं उपलब्ध की गई है। इस अस्पताल के लिए नियुक्त किए गए डॉक्टरों, नर्सो, अन्य स्टॉफ ने कोरोना की दो लहरों में करीब 8 हजार कोविड मरीजों का इलाज किया। नगर पालिका संचालित कोविड अस्पताल से लोगों को अपने ही शहर में कोरोना के इलाज की सुविधा मुहैया हुई।

    बेवजह लाखों खर्च करने के मुद्दे पर हाई कोर्ट ने नगर पालिका प्रशासन को लगाई फटकार

    हालांकि इस बीच डेंटल कोविड अस्पताल के भवन का उपयोग करते समय हस्तांतरण की प्रक्रिया में जमीन के मूल मालिक और भवन के मालिक के बीच तकनीकी विवाद के चलते नगर पालिका को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। इस मामले में डेंटल कॉलेज भवन के मालिक ने कोविड अस्पताल के लिए डेंटल कॉलेज भवन का उपयोग करने के लिए किराए में 7.5 करोड़ रुपए का दावा किया था। इस मामले की सुनवाई लगातार चली जानकारी के अनुसार हाई कोर्ट ने 

    ने शेड, अस्पताल की दीवारों पर पेंटिंग बनाना, सड़क, बगीचा के किए गए काम को वेवजह बताते हुए इस पर लाखों खर्च किए जाने के मुद्दे पर नगर पालिका प्रशासन को फटकार लगाई। बचाव पक्ष और याचिका कर्ता की दलीलें सुनने के बाद  मुंबई उच्च न्यायालय ने अंबरनाथ नगरपालिका को संबंधित बिल्डिंग के मालिक को 1 मई 2020 से 31 जनवरी इस प्रकार 21 महीने व किए गए नुकसान के एवज में  4 करोड़ 10 लाख रुपए अदा करने के आदेश दिए।