
पटना: बिहार (Bihar) की राजनीति (politics) में बवाल मचा हुआ है। बिहार सरकार में उथल पुथल की स्थिति बनी हुई है। जनता दल यूनाइटेड (JDU) नेता उपेंद्र कुशवाहा (Upendra Kushwaha) अपनी ही सरकार के खिलाफ आक्रामक हो गए हैं। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि CM ने कहा कि पार्टी में उपेंद्र कुशवाहा आए तो हमने उन्हें इज्जत दी और वे मुझसे स्नेह करते हैं। संसदीय बोर्ड का अध्यक्ष मुझे जरूर बनाया गया। तब मुझे भी लगता था मुझे उन दायित्वों का निर्वहन करने का अवसर मिलेगा। मैं कार्यकर्ताओं के हितों की रक्षा कर पाउंगा।
जदयू के संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाह ने मंगलवार को एक बार फिर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) को निशाने पर लिया। उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि सीएम ने मुझे संसदीय बोर्ड का अध्यक्ष के नाम पर झुनझुना पकड़ाया है। उपेंद्र कुशवाहा ने आरोप लगाया कि मुझे सिर्फ पद दिया गया, कोई अधिकार नहीं मिला। संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष के तौर पर मुझसे कभी कोई राय नहीं ली गई।
लेकिन बाद में पता चला कि संसदीय बोर्ड का अध्यक्ष मुझे बनाया गया तो सीधे तौर पर एक झुंझुना मेरे हाथ में थमाया गया है। मैं अध्यक्ष बन गया पर सदस्यों को भी मनोनीत नहीं कर सकता, इसका क्या अर्थ है? मुझसे कभी कोई सुझाव नहीं मांगा गया: उपेंद्र कुशवाहा, JDU, पटना, बिहार pic.twitter.com/Qx82biXQRI
— ANI_HindiNews (@AHindinews) January 31, 2023
मुझे एक लॉलीपॉप थमाया गया। राज्य सभा की सदस्यता छोड़ने में मुझे एक पल का भी मलाल नहीं होता है, भारत सरकार में मंत्री पद को छोड़ते हुए एक पल का मलाल नहीं होता है तो MLC कौन सी बड़ी चीज है। CM या पार्टी चाहे तो MLC वापस ले सकते हैं: उपेंद्र कुशवाहा, JDU, पटना pic.twitter.com/sYy35oRedt
— ANI_HindiNews (@AHindinews) January 31, 2023
JDU नेता उपेंद्र कुशवाहा मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बयान पर गरम हैं। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बयानों पर अपना गुस्सा उतारा है। उन्होंने कहा की मुझे एक लॉलीपॉप थमाया गया। राज्य सभा की सदस्यता छोड़ने में मुझे एक पल का भी मलाल नहीं होता है, भारत सरकार में मंत्री पद को छोड़ते हुए एक पल का मलाल नहीं होता है तो MLC कौन सी बड़ी चीज है। CM या पार्टी चाहे तो MLC वापस ले सकते हैं।