औरंगाबाद की नई बस्तियों में ड्रेनेज लाइन बिछाने पर खर्च होंगे इतने करोड़ रुपए

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    औरंगाबाद : आए दिन औरंंगाबाद (Aurangabad) शहर का विस्तार हो रहा है। शहर के बाहरी इलाकों में बड़े पैमाने पर नई बस्तियां (New Settlements) निर्माण हो रही है। शहर को सुंदर बनाने के दृष्टि से हर बस्ती में ड्रेनेज (Drainage) बिछाने के लिए उसका डीपीआर (DPR) बनाने का आदेश महानगरपालिका कमिश्नर डॉ. अभिजीत चौधरी ने अपने मातहत अधिकारियों को दिए थे। उसके तहत 150 करोड़ रुपए खर्च वाले डीपीआर का काम यश इनोवेशन प्रकल्प सलाहकार संस्था द्वारा युद्धस्तर पर जारी है। 

    महानगरपालिका सूत्रों ने बताया कि शहर का हर इलाका सुंदर और साफ सूत्रा बनाने के लिए स्मार्ट सिटी के माध्यम से विविध उपक्रमों पर अमलीजामा पहनाया जा रहा है। इसी के तहत शहर के बाहरी इलाकों में स्थापित हो चुकी नई बस्तियों को भी सुंदर और साफ सूत्रा रखने के लिए महानगरपालिका कमिश्नर डॉ. अभिजीत चौधरी ने ड्रेनेज लाइन बिछाने का निर्णय लिया है। इस निर्णय के तहत यश इनोवेशन प्रकल्प सलाहकार संस्था ने 150 करोड़ रुपए खर्च वाले ड्रेनेज लाइन बिछाने के काम का डीपीआर बनाने का काम शुरु किया है। इन दिनों यह कार्य युद्धस्तर पर जारी है। आगामी दो महीने में यह डीपीआर बनकर वह प्रशासन के समक्ष पेश किया जाएगा। 

    नई बस्तियों को होगा फायदा 

    बता दे कि शहर के आए दिन हो रहे विस्तार के चलते नई इलाकों में ड्रेनेज लाइन की जरुरत को ध्यान में रखकर महानगरपालिका कमिश्नर डॉ. अभिजीत चौधरी ने हाल ही में ड्रेनेज प्रकल्प का जायजा लिया गया था। प्रशासक चौधरी ने शहर के हडको एन-12 में बंद पडे एसटीपी प्लांट का दौरा किया था। उसके बाद उन्हें जिन इलाकों में ड्रेनेज लाइन बिछी नहीं है, उसका भी जायजा लिया था। उन नए इलाकों में ड्रेनेज लाइन बिछाने के लिए स्वच्छ भारत अभियान के अंतर्गत ड्रेनेज लाइन डालने के लिए विस्तृत डीपीआर बनाने का आदेश प्रकल्प सलाहकार संस्था को दिए है। उसके अनुसार यश इनोवेशन संस्था ने 150 करोड़ खर्च वाले ड्रेनेज लाइन का डीपीआर बनाने काम युद्धस्तर पर जारी किया है। महानगरपालिका सूत्रों ने बताया कि केंद्र के अमृत-2 योजना में ड्रेनेज का यह प्रकल्प पूरा किया जाएगा। राज्य सरकार ने ड्रेनेज का यह प्रकल्प अमृत-2 योजना में अमलीजामा पहनाने के लिए तत्वताह मंजूरी दी है। उसके अनुसार दिसंबर के अंत तक इस डीपीआर को राज्य सरकार की मंजूरी मिलेंगी। उसके बाद अमृत-2 में यह ड्रेनेज प्रकल्प शामिल होगा। 

    गौरतलब है कि महानगरपालिका प्रशासन ने करीब 15 वर्ष पूर्व केंद्र सरकार के यूआईडीएसएसएमटी योजना के अंतर्गत मंजूर हुए निधि से शहर में खिल्लारी कन्सट्रक्शन के माध्यम से अंडरग्राउंड ड्रेनेज लाइन बिछायी थी। इसमें शहर का करीब 80 प्रतिशत इलाका कवर होकर मुख्य लाइन और अंतर्गत लाइन बिछाकर उसे जोड़ा गया। शहर के नालों में छोड़े गए ड्रेनेज जोड़कर कांचनवाडी में स्थापित एसटीपी प्लांट पर प्रक्रिया की जाने लगी। शहर के गुंठेवारी इलाकों सहित 18 देहात शामिल हुए कुछ गांवों में ड्रेनेज लाइन पहुंची है। परंतु, आए दिन शहर का विस्तार होने से नए नए इलाकों में ड्रेनेज लाइन बिछाने का काम प्रशासन ने हाथ में लिया है।