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नागपुर: कैदियों के पुनर्वास एवं उन्हें रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने की योजना के तहत महाराष्ट्र की चार जेलों के कैदी नागपुर में नयी अदालत के भवन के लिए सागवान की लकड़ी से उच्च गुणवत्ता वाले फर्नीचर बना रहे हैं। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। अधिकारी ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि इस परियोजना के लिए काम कर रहे इन कैदियों को कुशल, अर्धकुशल एवं अकुशल श्रेणियों के तहत पारिश्रमिक मिलती है।

नागपुर की केंद्रीय जेल के अध्यीक्षक अनुप कुमरे ने कहा, ‘‘दिलचस्प यह है कि नागपुर सत्र अदालत के विस्तारित भवन के न्यायाधीश एवं अन्य कर्मी जिन कुर्सियों पर बैठेंगे, उनका निर्माण ऐसी ही अदालतों द्वारा दोषी ठहराये गये कैदी कर रहे हैं।” उन्होंने कहा कि इस तरह का कार्य अनुबंध वाकई कैदियों के लिए लाभकारी है, क्योंकि उन्हें जेल के अंदर ही अच्छा रोजगार मिल रहा है।

नागपुर केंद्रीय जेल की उपाधीक्षक दीपा अगेय ने बताया कि नागपुर, कोल्हापुर और नासिक एवं यरवदा (पुणे) जेलों में बंद कैदी नागपुर सत्र अदालत के नये विस्तारित भवन के वास्ते 22 प्रकार के फर्नीचर बनाने के लिए अपनी-अपनी जेल के काश्त-खंड में काम कर रहे हैं। नागपुर केंद्रीय जेल को फर्नीचर निर्माण के लिए 5.50 करोड़ रुपये का अनुबंध मिला था। अगेय ने कहा कि काम मार्च 2021 में शुरू हुआ था और इन फर्नीचर की आपूर्ति अब अंतिम चरण में है। (एजेंसी)