Doctors Strike

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  • शुक्रवार को होगी सरकार से बातचित  
  • अजित पवार ने पत्र जारी कर दिया भरोसा
  • मंत्रिमंडल में लिया जाएगा निर्णय  

नवभारत न्यूज़ नेटवर्क
मुंबई: बेहतर छात्रावास, स्टाइपेंड में बढ़ोतरी और बकाया राशि के भुगतान की मांग को लेकर महाराष्ट्र के लगभग 8000 में से करीब 4000 रेजिडेंट डॉक्टर्स स्ट्राइक पर है। गुरुवार शाम 5 बजे से यह स्ट्राइक शुरू हो चुकी है। एमएआरडी के अध्यक्ष  डॉ. अभिजीत हेल्गे ने बताया कि स्ट्राइक जारी रहेगी। आज दोपहर 3 बजे सरकार ने एमएआरडी के प्रतिनिधियों की मीटिंग बुलाई है। उसके बाद ही आगे का फैसला लिया जाएगा। मिली जानकारी के अनुसार, बीते 1 महीने में 3 बार राज्य सरकार और रेजिडेंट डॉक्टरों के बीच बैठक हुई है। लेकिन  फिर भी अब तक कोई निर्णय नहीं लिया गया है। 

बता दें कि राज्य के उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने एक पत्र जारी कर कहा कि कृपया एमएआरडी के डॉक्टर हड़ताल पर न जाए। बजट सत्र 26 फरवरी से शुरू हो रहा है। इसलिए 25 फ़रवरी (रविवार) को इसपर फैसला लिया जाएगा। मेडिकल कॉलेज को मंजूरी देते हुए सरकार ने हॉस्टल को अपनी योजना में शामिल किया है।  इसलिए नए कॉलेजों में डॉक्टरों को पहले दिन से ही अच्छी गुणवत्ता वाले हॉस्टल उपलब्ध कराए जाएंगे। मौजूदा छात्रावास के नवीनीकरण के लिए धनराशि वितरित कर दी गई है। इसलिए लोक निर्माण विभाग को इस कार्य को प्राथमिकता देते हुए तत्काल मरम्मत कार्य शुरू जाए। 

जेजे अस्पताल में जारी निवासी डॉक्टरों की स्ट्राइक के दौरान एमएआरडी के अध्यक्ष डॉ. अभिजीत हेल्गे ने बताया कि 7 फरवरी को स्ट्राइक बुलाई गई थी पर राज्य के उपमुख्यमंत्री अजित पवार और वैदिक शिक्षा मंत्री हस्सान मुसरिफ ने सेंट्रल मार्ड के साथ बैठक की थी। उस दौरान हमें यह आश्वासन दिया गया था कि आने वाले 2 दिनों में कैबिनेट की बैठक होगी और महाराष्ट्र में जितने भी रेजिडेंट डॉक्टर्स है (जूनियर और सीनियर रेजिडेंट डॉक्टर) के स्टाइपेंड  में 10,000 रुपए का इजाफा होगा। इस वजह से हमने स्ट्राइक पीछे ली थी। लेकिन उस बात को 15 दिन हो चुका है और अब तक कोई जीआर भी नहीं निकाला गया है। हमारी दूसरी मांग हॉस्टल को लेकर थी, जिसकी हालत बेहद खराब है। साथ ही एक रूम में 3 -4 डॉक्टरों को रहना पड़ रहा है। आबादी के हिसाब से इंफ्रास्ट्रक्चर मौजूद नहीं है।